बलि महाराज ने कहा: आपको नमन करने के प्रयास में भी कितना सुखद प्रभाव है। मैंने तो केवल आपको नमन करने का प्रयास किया था, परन्तु वह प्रयास शुद्ध भक्तों के प्रयासों के समान ही सफल हुआ। आपने मुझ पतित असुर पर जो अकारण कृपा की है वह कृपा तो देवताओं या लोकपालों को भी कभी प्राप्त नहीं हुई।