वेदामृत
Reset
Home
ग्रन्थ
श्रीमद् वाल्मीकि रामायण
श्रीमद् भगवद गीता
______________
श्री विष्णु पुराण
श्रीमद् भागवतम
______________
श्रीचैतन्य भागवत
वैष्णव भजन
About
Contact
श्रीमद् भागवतम
»
स्कन्ध 8: ब्रह्माण्डीय सृष्टि का निवर्तन
»
अध्याय 14: विश्व व्यवस्था की पद्धति
»
श्लोक 2
श्लोक
8.14.2
श्रीऋषिरुवाच
मनवो मनुपुत्राश्च मुनयश्च महीपते ।
इन्द्रा: सुरगणाश्चैव सर्वे पुरुषशासना: ॥ २ ॥
अनुवाद
play_arrowpause
श्री शुकदेव गोस्वामी ने कहा: हे राजा! सारे मनु, मनु के पुत्र, महाऋषि, इंद्र तथा देवता सभी यज्ञ आदि विविध अवतारों में भगवान के द्वारा नियुक्त किए जाते हैं।
Connect Form
हरे कृष्ण हरे कृष्ण कृष्ण कृष्ण हरे हरे। हरे राम हरे राम राम राम हरे हरे॥
© copyright 2024 vedamrit. All Rights Reserved.