श्रीमद् भागवतम  »  स्कन्ध 10: परम पुरुषार्थ  »  अध्याय 72: जरासन्ध असुर का वध  »  श्लोक 32
 
 
श्लोक  10.72.32 
 
 
अयं तु वयसातुल्यो नातिसत्त्वो न मे सम: ।
अर्जुनो न भवेद् योद्धा भीमस्तुल्यबलो मम ॥ ३२ ॥
 
अनुवाद
 
  “जहाँ तक अर्जुन की बात है, वह न मुझ जैसा उम्रदराज़ है और न ही बहुत ताकतवर है। चूँकि वो मेरा मुकाबला नहीं कर सकता, इसलिए उसे प्रतिद्वंद्वी नहीं बनना चाहिए। हालाँकि, भीम मेरे जितना ही मजबूत है।”
 
 
 
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  हरे कृष्ण हरे कृष्ण कृष्ण कृष्ण हरे हरे। हरे राम हरे राम राम राम हरे हरे॥
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