श्रीमद् भागवतम  »  स्कन्ध 10: परम पुरुषार्थ  »  अध्याय 44: कंस वध  »  श्लोक 19
 
 
श्लोक  10.44.19 
 
 
तैस्तैर्नियुद्धविधिभिर्विविधैरच्युतेतरौ ।
युयुधाते यथान्योन्यं तथैव बलमुष्टिकौ ॥ १९ ॥
 
अनुवाद
 
  भगवान बलराम और मुष्टिक ने कुशलतापूर्वक अनेक कुश्ती शैलियों का प्रदर्शन करते हुए एक-दूसरे से ठीक उसी तरह युद्ध किया, जैसे भगवान कृष्ण और उनके प्रतिद्वंद्वी ने किया था।
 
 
 
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  हरे कृष्ण हरे कृष्ण कृष्ण कृष्ण हरे हरे। हरे राम हरे राम राम राम हरे हरे॥
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