श्रीमद् वाल्मीकि रामायण  »  काण्ड 7: उत्तर काण्ड  »  सर्ग 92: श्रीराम के अश्वमेध यज्ञ में दान- मान की विशेषता  »  श्लोक 5
 
 
श्लोक  7.92.5 
 
 
अन्नपानादिवस्त्राणि सर्वोपकरणानि च।
भरत: सहशत्रुघ्नो नियुक्तो राजपूजने॥ ५॥
 
 
अनुवाद
 
  उन महान राजाओं के लिए, जो अतिथि थे, भोजन, पेय, वस्त्र और अन्य सभी आवश्यक चीजें दी गईं। भरत और शत्रुघ्न सहित सभी मंत्री उन राजाओं की आवभगत में नियुक्त किए गए थे।
 
 
 
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  हरे कृष्ण हरे कृष्ण कृष्ण कृष्ण हरे हरे। हरे राम हरे राम राम राम हरे हरे॥
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