श्रीमद् वाल्मीकि रामायण  »  काण्ड 7: उत्तर काण्ड  »  सर्ग 63: श्रीराम द्वारा शत्रुघ्न का राज्याभिषेक तथा उन्हें लवणासुर के शूल से बचने के उपाय का प्रतिपादन  »  श्लोक 3
 
 
श्लोक  7.63.3 
 
 
अवश्यं करणीयं च शासनं पुरुषर्षभ।
तव चैव महाभाग शासनं दुरतिक्रमम्॥ ३॥
 
 
अनुवाद
 
   अवश्य ही करणीय है, हे पुरुषश्रेष्ठ! महाभाग! आपका आदेश। आपका आदेशन किसी के लिए भी टालना मुश्किल है।
 
 
 
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  हरे कृष्ण हरे कृष्ण कृष्ण कृष्ण हरे हरे। हरे राम हरे राम राम राम हरे हरे॥
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