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श्रीमद् वाल्मीकि रामायण
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काण्ड 7: उत्तर काण्ड
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सर्ग 109: परमधाम जाने के लिये निकले हुए श्रीराम के साथ समस्त अयोध्या वासियों का प्रस्थान
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श्लोक 18
श्लोक
7.109.18
द्रष्टुकामोऽथ निर्यान्तं रामं जानपदो जन:।
य: प्राप्त: सोऽपि दृष्ट्वैव स्वर्गायानुगतो जन:॥ १८॥
अनुवाद
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श्रीराम के दर्शन के लिए आये जनपद के लोग भी इस वैभवपूर्ण समारोह को देखकर खुश हो उठे और भगवान श्रीराम के साथ परमधाम जाने को तैयार हो गए।
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हरे कृष्ण हरे कृष्ण कृष्ण कृष्ण हरे हरे। हरे राम हरे राम राम राम हरे हरे॥
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