श्रीमद् वाल्मीकि रामायण  »  काण्ड 6: युद्ध काण्ड  »  सर्ग 70: हनुमान जी के द्वारा देवान्तक और त्रिशिरा का, नील के द्वारा महोदर का तथा ऋषभ के द्वारा महापार्श्व का वध  »  श्लोक 38
 
 
श्लोक  6.70.38 
 
 
अथ शक्तिं समासाद्य कालरात्रिमिवान्तक:।
चिक्षेपानिलपुत्राय त्रिशिरा रावणात्मज:॥ ३८॥
 
 
अनुवाद
 
  देखकर रावण का पुत्र त्रिशिरा ने शक्ति हाथ में ली, मानो यमराज ने कालरात्रि को अपने साथ ले लिया हो, वह शक्ति लेकर उसने पवनकुमार हनुमान जी पर फेंक दी।
 
 
 
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  हरे कृष्ण हरे कृष्ण कृष्ण कृष्ण हरे हरे। हरे राम हरे राम राम राम हरे हरे॥
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