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श्रीमद् वाल्मीकि रामायण
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श्लोक 14
श्लोक
3.8.14
फुल्लपङ्कजखण्डानि प्रसन्नसलिलानि च।
कारण्डवविकीर्णानि तटाकानि सरांसि च॥ १४॥
अनुवाद
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बहुत सारे तालाब और सरोवर दिखाई देंगे जहाँ खिले हुए कमलों के समूह शोभा दे रहे होंगे, उनके जल साफ और स्वच्छ होंगे, और तरह-तरह के जलपक्षी जैसे कारण्डव आदि इन तालाबों की शोभा बढ़ा रहे होंगे।
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हरे कृष्ण हरे कृष्ण कृष्ण कृष्ण हरे हरे। हरे राम हरे राम राम राम हरे हरे॥
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