श्री महाभारत  »  पर्व 7: द्रोण पर्व  »  अध्याय 156: सोमदत्त और सात्यकिका युद्ध, सोमदत्तकी पराजय, घटोत्कच और अश्वत्थामाका युद्ध और अश्वत्थामाद्वारा घटोत्कचके पुत्रका, एक अक्षौहिणी राक्षस-सेनाका तथा द्रुपदपुत्रोंका वध एवं पाण्डव-सेनाकी पराजय  »  श्लोक 14
 
 
श्लोक  7.156.14 
यदि तेऽस्ति युयुत्साद्य मया सह नराधिप।
निर्दयो निशितैर्बाणै: प्रहर प्रहरामि ते॥ १४॥
 
 
अनुवाद
हे मनुष्यों के स्वामी! यदि तुम मुझसे युद्ध करना चाहते हो तो तीखे बाणों से मुझ पर निर्दयतापूर्वक प्रहार करो। मैं भी तुम पर प्रहार करूँगा॥14॥
 
O lord of men! If you wish to fight with me then attack me mercilessly with sharp arrows. I will also attack you.॥ 14॥
 ✨ ai-generated
 
 
  Connect Form
  हरे कृष्ण हरे कृष्ण कृष्ण कृष्ण हरे हरे। हरे राम हरे राम राम राम हरे हरे॥
  © copyright 2025 vedamrit. All Rights Reserved.