কৃষ্ণে দেখি’ এই সব করেন নমস্কার
কৃষ্ণ-গমন পুছে তারে করিযা নির্ধার
कृष्णे देखि’ एइ सब करेन नमस्कार ।
कृष्ण - गमन पुछे तारे करिया निर्धार ॥50॥
अनुवाद
गोपियों को लगा कि चूंकि सभी पेड़ों ने कृष्ण को अपने पास से गुजरते देखा होगा, इसलिए वे उन्हें सादर प्रणाम कर रहे हैं। निश्चित करने के लिए गोपियों ने पेड़ों से पूछा।