श्री चैतन्य चरितामृत  »  लीला 2: मध्य लीला  »  अध्याय 7: महाप्रभु द्वारा दक्षिण भारत की यात्रा  »  श्लोक 16
 
 
श्लोक  2.7.16 
দুই-এক সঙ্গে চলুক, না পড হঠ-রঙ্গে
যারে কহ সেই দুই চলুক্ তোমার সঙ্গে
दुइ - एक सङ्गे चलुक, ना पड़ हठ - रङ्गे ।
यारे कह सेइ दुइ चलुक्तोमार सङ्गे ॥16॥
 
अनुवाद
"हममें से एक या दो आपके साथ चलने दें, नहीं तो रास्ते में चोर-डाकू जैसे लोगों से आपका सामना हो सकता है और आप उनकी गिरफ्त में पड़ सकते हैं। हममें से जिसे भी आप चाहें साथ ले लें, परंतु दो व्यक्ति आपके साथ अवश्य जाने चाहिए।"
 
 ✨ ai-generated
 
 
  Connect Form
  हरे कृष्ण हरे कृष्ण कृष्ण कृष्ण हरे हरे। हरे राम हरे राम राम राम हरे हरे॥
  © copyright 2025 vedamrit. All Rights Reserved.