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श्लोक 2.18.87  |
কিন্তু আজি এক মুঞি ‘স্বপ্ন’ দেখিনু
সেই স্বপ্ন পরতেক তোমা আসি’ পাইনু |
किन्तु आजि एक मुञि ‘स्वप्न’ देखिनु ।
सेइ स्वप्न परतेक तोमा आसि’ पाइनु ॥87॥ |
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अनुवाद |
“आज रात ही मैंने एक स्वप्न देखा। उस सपने के अनुसार ही मैं यहाँ आ सका और आपसे मिल पाया।” |
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