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श्लोक 1.17.117  |
জল পান করিযা নাচে হঞা বিহ্বল
যমুনাকর্ষণ-লীলা দেখযে সকল |
जल पान करिया नाचे ह ञा विह्वल ।
यमुनाकर्षण - लीला देखये सकल ॥117॥ |
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अनुवाद |
जल पीकर भगवान चैतन्य इतने भाव विभोर हो गए कि वे नाचने लगे। इस प्रकार सभी ने यमुना आकर्षण लीला देखी। |
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