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श्लोक 1.13.17  |
এই দুই জনের সূত্র দেখিযা শুনিযা
বর্ণনা করেন বৈষ্ণব ক্রম যে করিযা |
एइ दुइ जनेर सूत्र देखिया शुनिया ।
वर्णना करेन वैष्णव क्रम ये करिया ॥17॥ |
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अनुवाद |
इन दो महापुरुषों द्वारा लिखित टिप्पणियों को देखकर और सुनकर कोई भी वैष्णव अर्थात् भगवान के भक्त इन लीलाओं को क्रमशः जान सकता है। |
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