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श्लोक 82
श्लोक
1.12.82
ভূগর্ভ গোসাঞি, আর ভাগবত-দাস
যেই দুই আসি’ কৈল বৃন্দাবনে বাস
भूगर्भ गोसाञि, आर भागवत - दास ।
येइ दुइ आसि’ कैल वृन्दावने वास ॥82॥
अनुवाद
गदाधर गोस्वामी की वंशावली की ग्यारहवीं शाखा में भूगर्भ गोसांइ हुए और बारहवीं में भागवतदास हुए। वे दोनों वृन्दावन चले गए और जीवनभर वहीं निवास किया।
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हरे कृष्ण हरे कृष्ण कृष्ण कृष्ण हरे हरे। हरे राम हरे राम राम राम हरे हरे॥
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